सावधान कही आप अशुभ काल
मे कार्य या पूजा अर्चना करने तो नहीं जा रहे-
मुहूर्त या शुभ समय की
गणन प्रक्रिया दुष्कर है| अनेक प्रकार के दोष
होते है |
जनहित मे पूर्ण सावधानी
से सभी दोष मुक्त समय प्रस्तुत है \|दिनांक 25 से 27अक्टूबर तक**
वृश्चिक लग्न प्रातः 810 से 10:10 तक .
मकर लग्न दोपहर 12:30 से 2:00 बजे तक
कुंभ लग्न 2:17 से 3:35 तक .
मीन लग्न 3:50 से 5:05 तक.
मेष लग्न 521 से 7:00 बजे तक.
कर्क लग्न रात्री में 11:13 से सिंह लग्न रात्रि 1:20 से 325 तक रहेगी.
लग्न के आधार पर वृषभ लग्न स्थिर लग्न होती है तथापि शुभ लग्न की श्रेणी में इस वर्ष नहीं आ रही है.
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काल ,कुलिक,विष घटी,राहू काल,यमकटक,चौघड़िया दिन रात्री बेला आदि दोषों से मुक्त समय प्रस्तुत ।
वृश्चिक लग्न प्रातः 810 से 10:10 तक .
मकर लग्न दोपहर 12:30 से 2:00 बजे तक
कुंभ लग्न 2:17 से 3:35 तक .
मीन लग्न 3:50 से 5:05 तक.
मेष लग्न 521 से 7:00 बजे तक.
कर्क लग्न रात्री में 11:13 से सिंह लग्न रात्रि 1:20 से 325 तक रहेगी.
लग्न के आधार पर वृषभ लग्न स्थिर लग्न होती है तथापि शुभ लग्न की श्रेणी में इस वर्ष नहीं आ रही है.
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काल ,कुलिक,विष घटी,राहू काल,यमकटक,चौघड़िया दिन रात्री बेला आदि दोषों से मुक्त समय प्रस्तुत ।
विशेष-चौघड़िया काल 1:30 मिनट का प्रयोग नहीं
करे-
चौघड़िया काल मे अनेक वार दोष 25 जैसे अक्टोबर 7:47-9:13गुलिक काल एवं मंगल होरा;मरुत काल मे वार दोष,शुभ काल मे दुर्मुहूर्त दोष,चार काल मे वर्जित काल एवं रात्रि के लाभ काल मे काल त्रि दोष एवं
मंगल होरा आदि दोष हैं।
27 अक्टूब्रर को लाभ,अमरूत,शुभ,आदि मे भी दोष है ।
25 अक्टूबर
*** होरा काल आधारित श्रेष्ठ समय. सभी दोषों से मुक्त-
लग्न के पश्चात इसका ही सर्वाधिक महत्व है.
प्रातः 6:22 से 8:00 बजे तक.
10:10 से 10:38 तक.
दोपहर में 1:23 से 1:59 तक.
एवं 2:54 तक भी उपयुक्त है
शाम को 5:13 से 5:26 तक विशेष उपयोगी समय है.
4:21 से 5:26 तक धन से संबंधित कार्यों के लिए श्रेष्ठ समय है.
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26 अक्टूबर 2019
नरक चतुर्दशी यमदीप
दान एवं अरिष्ट नाशक हनुमान जी की पूजा
*यमदीप *
तिल के तेल का प्रयोग 5:50 से 7:00 बजे तक दक्षिण दिशा की ओर वर्तिका तथा दीपक कर रखना चाहिए .
दीपदान का श्रेष्ठ समय 5:50 से 8:15 तक सिद्ध होता है.
*मंत्र सिद्धि एवं अनुष्ठान के लिए -
रात्रि 11:40 से 12:25 तक उत्तम समय है. इसके साथ ही रात्रि 1:18 से 3:30 बजे तक सिंह लग्न में में भी अनुष्ठान कार्य किए जा सकते हैं
लग्न के आधार पर वृषभ लग्न स्थिर लग्न होती है तथापि शुभ लग्न की श्रेणी में इस वर्ष नहीं आ रही है.
*यमदीप *
तिल के तेल का प्रयोग 5:50 से 7:00 बजे तक दक्षिण दिशा की ओर वर्तिका तथा दीपक कर रखना चाहिए .
दीपदान का श्रेष्ठ समय 5:50 से 8:15 तक सिद्ध होता है.
*मंत्र सिद्धि एवं अनुष्ठान के लिए -
रात्रि 11:40 से 12:25 तक उत्तम समय है. इसके साथ ही रात्रि 1:18 से 3:30 बजे तक सिंह लग्न में में भी अनुष्ठान कार्य किए जा सकते हैं
लग्न के आधार पर वृषभ लग्न स्थिर लग्न होती है तथापि शुभ लग्न की श्रेणी में इस वर्ष नहीं आ रही है.
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27 अक्टूबर
धन देवी लक्ष्मी पूजा गणेश एवं कुबेर पूजा रिद्धि सिद्धि प्रदायक
लक्ष्मी पूजा का समय शाम को 6:52 से रात्रि 8:10
श्रेष्ठ सिद्धि काल रात्रि 11:42 से 12:25 तक, रात्रि कालीन सिद्धि काल सिंह राशि की लग्न 1:20 से 3:25 तक उपलब्ध है
**होरा आधारित सर्व दोष मुक्त मंगल शुभ कल्याण प्रद कार्यों के लिए शुभ समय**
*व्यापारिक, ज्ञान नए वस्त्र आदि धारण करने एवं अनुबंध आदि कार्यों के लिए प्रातः 8:16 से 9:13 तक रात्रि 9:58 से 11:01 तक विशिष्ट काल है.
*शैक्षिक विद्या नए
वस्त्र एवं आभूषण धारण करने के लिए एवं मंगल कार्यों के लिए 1:07 से 2:04 बजे तक अति उत्तम समय है.
तथा दोपहर पश्चात 5:48 से 6:49 एवं रात्रि कालीन 1:07 से 2:11 तक जिससे शुभ समय है.
*सामान्यता सभी प्रकार के मंगल कार्यों के लिए प्रातः 9:13 से 10:10 तक एवं रात्रि 11:07 से 12:02 तक विशेष अनुकूल समय है..
तथा दोपहर पश्चात 5:48 से 6:49 एवं रात्रि कालीन 1:07 से 2:11 तक जिससे शुभ समय है.
*सामान्यता सभी प्रकार के मंगल कार्यों के लिए प्रातः 9:13 से 10:10 तक एवं रात्रि 11:07 से 12:02 तक विशेष अनुकूल समय है..
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