ग्रहण कालीन कुंडली एवं गोचर ग्रह- शुभ-अशुभ प्रभाव (दिसंबर 2018 अंत तक )27july2018sampurn chnadr grahn
ग्रहण
कालीन कुंडली एवं गोचर ग्रह- शुभ-अशुभ प्रभाव (दिसंबर 2018 अंत तक )
मानव जीवन पर तीन प्रकार से ग्रहों के प्रभाव होते हैं |
प्रथम प्रभाव -जन्मकालीन नक्षत्र एवं उसके चरण के आधार पर | द्वितीय प्रभाव-
व्यवहारिक नाम के आधार पर | तीसरा प्रभाव -जिस लग्न में जन्म
हुआ, (स्थूल रूप से
राशि)|
Ø यह विशेष नियम
समय काल, जैसे ग्रहण एक विशेष अवधि तक प्रभावशाली
है |
Ø ग्रहण कालीन कुंडली के आधार पर किस राशि पर ? किस लग्न ? नाम क्या “?
Ø इन का समन्वित किस प्रकार का प्रभाव होता है | इसका विवरण
प्रस्तुत किया जा रहा है |
Ø केवल राशि से गोचर के पूर्ण फल नहीं मिलते क्योंकि व्यवहार में
नाम का भी बहुत बड़ा प्रभाव होता है| इसके साथ ही गोचर में केवल ग्रह गोचर ही नहीं
वरन लग्न के आधार पर भी (गोचर शुभ -शुभ लाभ – हानि, अधिकार ,दाम्पत्य, रोजगार आदि विषयों
का )विचार किया जाना आवश्यक है |
Ø लग्न एवं राशि दोनों का ध्यान में रखते हुए, गोचर के ग्रह की स्थिति या तत्कालीन कुंडली में उपस्थित ग्रहों
की स्थिति से समन्वित रूप से विश्लेषण कर फलकथन किया जाना सटीक एवं उचित होता है |
Ø जन्म
नक्षत्र- ग्रहण कालीन कुंडली के आधार पर यदि हम नक्षत्र की बात
करें तो पुष्य एवम उत्तराषाढ़ा नक्षत्र के साथ श्रवण नक्षत्र में जन्म लेने
वाले भी प्रभावित होंगे | इनको लाभदायक स्थितियां कम प्राप्त होंगी |
Ø लग्न के आधार- कर्क ,वृश्चिक, मकर ,मीन लग्न वालों को विशेष प्रतिकूल प्रभाव मिलेंगे |
Ø मध्यम अशुभ प्रभाव -मेष मिथुन तुला धनु कुंभ लग्न वालों को प्राप्त होंगे |
Ø नाम- (इसके साथ ही राहु और
केतु की स्थिति के अनुसार उनके मध्य में आने वाली राशि )
ह,र,त,न,य,ज,ख,ड अक्षर से प्रारम्भ होने वाले स्थान ,संस्थान,प्रदेश
देश,कंपनी,वस्तु,उत्पाद
नाम वालों पर विशेष प्रतिकूल प्रभाव होंगे |
विशेष- इसके साथ यह विशेष तथ्य है कि, शनि शुक्र
गुरु अपने प्रभाव से कुंभ राशि वालों को सुरक्षित करते हुए श्रेष्ठ फल
प्रदान करेंगे | मिथुन और कन्या राशि वालों को शनि सुरक्षा प्रदान करने
में सक्षम है | गुरु के द्वारा तुला राशि को सुरक्षित किया जा कर
अनुकूल परिस्थितियां पैदा करने वाला बनाएगा |
ü परंतु जैसा किमैंने ऊपर विवरण दिया कि-लग्न, राशि, नाम प्रचलित ,ग्रहण कालीन कुंडली का गोचर के
समन्वित विश्लेषण पर यदि फलकथन किया जाए तो इस प्रकार से फलकथन होगा-
v मेष राशि अर्थात जिनका नाम अ
.ला अक्षर पर होगा - कष्ट परंतु उच्च पद एवं
अधिकार वृद्धि के योग हैं | संतान से अपेक्षित सहयोग नहीं मिलेगा|
v वृषभ राशि(उ,ए,ई,व,ब,ओ,)- अधिकार,सफलता,शरीर कष्ट हो सकता है परंतु भाग्य वृद्धि के अच्छे अवसर मिलेंगे |
v मिथुन राशि(क,घ,छ)- कार्यधिकता,कष्ट होगा परंतु प्रत्येक क्षेत्र में विजय एवं व्यवहार में
प्रगति,कुशलता में वृद्धि होगी |
v कर्क राशि (ह,ड)- दांपत्य जीवन में कष्ट होगा | संपत्ति में हानि होगी, परंतु भाग्य में
वृद्धि होगी|
v सिंह राशि(म,ट)- वालों के लिए विजय, स्वास्थ्य में सुधार ,सफलता मिलेगी एवं
पत्नी के धन में वृद्धि होगी |
v कन्या(प,थ,ठ)- राशि वालों को भागदौड़ ,शारीरिक कष्ट,व्यस्तता, परंतु आकस्मिक सुअवसर तथा विजय प्राप्त होगी |
v तुला राशि(र,त)- रोजगार में प्रगति ,दांपत्य साथी से कष्ट ,व्यय,, मां को कष्ट होगा |
v वृश्चिक(न,य) राशि - विजय प्राप्त होगी | भाग्योदय होगा परंतु आकस्मिक प्रबल कष्ट के योग
हैं |
v धनु राशि (भ,ध)-को संतान से सुख में बाधा, शिक्षा , वाणी पर नियंत्रण रखें परंतु आय में
वृद्धि होगी मकर
राशि(ज,ख,) संपत्ति पर व्यय होगा| नए सामग्री पर व्यय होगा |नए पदाधिकार या जिम्मेदारी में वृद्धि होगी | दैनिक भाग-दौड़ बढ़ेंगे एवं सफलता उच्च स्तरीय होगी |
v कुंभ राशि(स,श,ग,) वालों के लिए आय में वृद्धि होगी | राजनीति में अनुकूल स्थिति | लंबित कार्य
पूर्ण होंगे परंतु नए विवाद आरोप लगना स्वाभाविक रहेगा |
v मीन राशि (द,च)- परिवार के सदस्यों से कस्ग्त,सुख वाधा ,अपयश; स्वयं के प्रयास
से भाग्य वृद्धि ,अधिकार वृद्धि, आर्थिक स्थिति उत्तम
रहेगी|
v अन्य-
v विभाग –विज्ञापन एजेंसी, रेलवे , राजनीति संगठन,चिकित्सा , एवं कमांडो,सुरक्षाकर्मी, के लिए प्रतिकूल समय रहेगा|
v रोग-जिनको कोई हृदय, नासूर, गांठ, अस्थि, स्वांस और कफ रोग हैं, उनके स्वास्थ्य में सुधार होने की संभावना
कम रहेगी|
v जीवो - ऊंट कौवा मच्छर
उल्लू सर्प कीड़े मकोड़ों ,सर्प,-प्रतिकूल|
v इस प्रकार जो फलकथन लिखा गया है दिसंबर माह तक अधिकतम प्रभावशील
रहेगा |
v ज्योतिष9999@जीमेल॰कॉम 9424446706
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